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ऑकुलोप्लास्टी क्या है? Oculoplasty Kya Hai?
ऑकुलोप्लास्टी को ऑप्थेल्मिक प्लास्टिक सर्जरी भी कहते हैं। नेत्र रोग विशेषज्ञों (ऑप्थल्मोलॉजिस्ट) द्वारा की जाने वाली यह ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी आंख के आसपास की जाती है। मुख्य रुप से ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी की मदद से आंख की उपस्थिति को बदला जाता है, जिससे आंख के कामकाज में सुधार होता है। इसके साथ ही यह सर्जरी आंख के अंदर पैदा होने वाली जटिलताओं को कम करके आंख में आराम का स्तर बढ़ाने में भी मदद करती है।
ऑकुलोप्लास्टी या ऑप्थेल्मिक प्लास्टिक सर्जरी को आंसू के जल निकासी में समस्या, पलक की जटिलता, पलक के अंदर कैंसर, आंखों की ऑर्बिटल समस्या और भौहें या उसके आसपास की जटिलता जैसी विभिन्न स्थितियो में इस्तेमाल किया जाता है। इसकी मदद से न सिर्फ आंखों को प्रोपर कॉस्मेटिक अपीयरेंस प्रदान किया जा सकता है, बल्कि आंखों के पास दिखाई देने वाली समस्याओं को कम करने में भी यह बहुत फायदेमंद है।
ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी की ज़रूरत – Oculoplasty Surgery Ki Zarurat
किसी व्यक्ति को निम्नलिखित स्थितियों का अनुभव होने पर ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी की ज़रूरत होती है, जैसे-
- पलक झपकना, जिसे प्टॉयसिस भी कहते हैं।
- अनजाने में ज़्यादा बार आंखें झपकाना।
- आंख फड़कना।
- आंखों के आसपास झुर्रियां और निशान होना।
- आंखों से पानी आना यानी एन्ट्रोपियन या एक्ट्रोपियन की स्थिति दिखना।
- आंख के अंदर टियर डक्ट और ऑयल ग्लैंड्स में रुकावट।
- आंख के आसपास या अंदर ट्यूमर का होना।
- आंखों के आसपास चर्बी की बढ़ी हुई मात्रा, जिसे ब्लेफेरोप्लास्टी कहते हैं।
- एक आंख का न होना यानी एनोफ्थेल्मिया की स्थिति
- आंख के ऑर्बिट के अंदर ट्यूमर का बढ़ना
- आंख जलना
प्रक्रिया – Prakriya
ऑप्थल्मोलॉजिस्ट अलग-अलग प्रक्रियाओं के ज़रिए आंखों की विभिन्न स्थितियों का उपचार करते हैं। आंखों की इन समस्याओं में प्टॉयसिस की स्थिति में पलक का गिरना, पलकों से आंसु बहना और आंख की ऑर्बिट में फ्रैक्चर जैसी कई अन्य समस्याएं शामिल हैं, जिनके इलाज के लिए मेडिकल हेल्प या ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी की ज़रूरत होती है।
इन समस्याओं के अलावा ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी का इस्तेमाल मरीज़ की ओवर ऑल अपीयरेंस में सुधार के लिए भी किया जाता है, इसलिए यह किसी व्यक्ति के चेहरे की विशेषताओं को बनाए रखने में भी मदद करती है। आंखों के आकार और उनकी शारीरिक बनावट को बनाए रखने के लिए ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी एक तरह की कॉस्मेटिक सर्जरी है।
ऑकुलोप्लास्टी में विभिन्न सर्जरी में शामिल हैं-
- पलक की सर्जरी: इसमें सर्जिकल प्रक्रियाओं की मदद से प्टॉयसिस (पलक का गिरना), एक्ट्रोपियन और एन्ट्रोपियन जैसी अलग-अलग स्थितियों का इलाज किया जाता है। साथ ही इस सर्जरी की मदद से पलक के क्षेत्र में ट्यूमर का इलाज भी किया जा सकता है।
- ब्लेफेरोप्लास्टी सर्जरी: इस सर्जरी में पलकों में वसा की मात्रा में वृद्धि देखी जाती है या बढ़ी हुई स्किन को सर्जिकल प्रक्रिया के ज़रिए हटा दिया जाता है। यह एक प्लास्टिक सर्जरी है, जिसमें पलक से फालतू स्किन और फैट को हटाया जाता है।
इस सर्जरी की मदद से प्टॉयसिस, एन्ट्रोपियन और एक्ट्रोपियन जैसी स्थितियों का इलाज करके इनकी स्थितियों को ठीक किया जाता है।
- ऊपरी भाग और पलक के निचले हिस्से के क्षेत्र या जंक्शन से ऊतक भाग को हटाने को कैंथेक्टोमी कहा जाता है। कैन्थस आंख की ऊपरी और निचली पलकों के इंटरसेक्शन द्वारा बनाया जाने वाला एक कोण है। यह दो प्रकार की होती है: इंटरनल कैंथी और एक्सटर्नल कैंथी। एक्सटर्नल या आउटर कैंथी, इंटरनल के मुकाबले में बहुत ज़्यादा करीब है और इस क्षेत्र में पलकें आंख के बल्ब के ज़्यादा करीब हैं। इंटरनल कैंथी को इनर कैंथी भी कहते हैं, जो इस क्षेत्र में नाक और पलकों के पास मौजूद होती है। एक त्रिकोणीय आकार की संरचना से अलग इस इंटरनल कैंथी को लैकस लैक्रिमालिस भी कहा जाता है।
- कैन्थस रीजन को सर्जिकल प्रक्रिया की सहायता से बांटा जाता है, जिसे कैन्थोलिसिस कहते हैं।
- सर्जरी की मदद से किए जाने वाले कैन्थस क्षेत्र के निर्धारण को कैन्थोपेक्सी कहते हैं।
- आंख के कैन्थस क्षेत्र में की जाने वाली प्लास्टिक सर्जरी कैंथोप्लास्टी कहलाती है।
- पैल्पेब्रल फिशर को छोटा करने के लिए एक्सटर्नल कैन्थस क्षेत्र में टांके लगाकर उसे रिपेयर किया जाता है, जिसे कैंथोरफी सर्जरी कहते हैं।
- आंख के एक्सटर्नल कैन्थस रीजन में डिवीजन को कैंथोटॉमी या लेटरल कैंथोटॉमी कहा जाता है।
आंख को हटाने की प्रक्रिया
- एन्यूक्लिएशन: इस प्रक्रिया में आंख के अंदर मौजूद मांसपेशियों या आंख में ऑर्बिटल रीजन की सामग्री को बाधित किए बिना आंख को सावधानी के साथ हटाया जाता है।
- एविसेरेशन: इसमें आंखों में दर्द का इलाज या दर्द कम करने के लिए सर्जरी की जाती है। इस दौरान सर्जरी की मदद से आंख के स्क्लेरा टिश्यू को परेशान किए बिना आंखों की सामग्री को हटा दिया जाता है और इसे अपनी पहले की स्थिति में बरकरार रखा जाता है।
- एक्सेंटरेशन: इस प्रकिया का इस्तेमाल आंख के अंदर मैलिग्नेंट ऑर्बिटल ट्यूमर की मौजूदगी वाले मामलों के इलाज में किया जाता है। इसमें आंख के अंदर मौजूद सभी सामग्री, जैसे फैट, आंख के अंदर की मांसपेशियां और संयोजी ऊतकों और आंख को सर्जीकल मेथड का इस्तेमाल करके हटा दिया जाता है।
आर्टिफिशियल आंखों के मामले में आंख के अंदर ऑर्बिटल तल के दोबारा बनने के साथ ऑर्बिटल प्रक्रियाएं। एक ऑर्बिटल के मामले में आंख और पलकों के रिप्लेसमेंट को आर्टिफिशियल रूप से हटा दिया जाता है और इस स्थिति को ऑर्बिटल प्रोथेसिस कहते हैं। ट्यूमर के मामले में आंख के अंदर मौजूद ऑर्बिट को सर्जिकल प्रक्रिया द्वारा हटाया जाता है, ताकि यह किसी व्यक्ति में दृष्टि को बनाए रखने में मदद कर सके।
ऑकुलोप्लास्टी प्रक्रिया
ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी की प्रक्रिया कुछ चरणों का पालन करके की जाती है। पहले चरण में मरीज़ में होने वाले लक्षणों की स्टडी की जाती है। इसमें व्यक्ति की मौजूदा स्थिति शामिल होती है, जिससे उन्हें दृष्टि समस्या होती है और आंख की उपस्थिति भी शामिल होती है। परीक्षण पूरा होते ही मरीज़ की सभी जटिलताओं और लक्षणों की सावधानी के साथ स्टडी की जाती है।
इसके बाद ऑप्थल्मोलॉजिस्ट मरीज़ के इलाज में मदद करने के लिए ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी के कुछ विकल्पों की सलाह देते हैं। इससे न सिर्फ इलाज में मदद मिलती है, बल्कि दर्द और दृष्टि को प्रभावित करने वाले लक्षण भी कम किये जा सकते हैं। ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी के लिए मरीज़ ऑप्थल्मोलॉजिस्ट द्वारा सुझाए गए इन उपयुक्त विकल्पों में से कोई भी चुन सकता है।
ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी की कीमत – Oculoplasty Surgery Ki Keemat
भारत के कई प्रमुख शहरों में एडवांस टेक्नोलॉजी और सेवाओं के ज़रिए कई समस्याओं का इलाज करने में मदद मिलती है। ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी उपचार के लिए ज़रूरी कम से कम कीमत लगभग 1,25,000 प्रति आंख है। ऑकुलोप्लास्टी सर्जरी की कीमत अलग-अलग मरीज़ों की उनकी उम्र और समस्या के आधार पर अलग होती है। मरीज़ों के लिए कीमत कम है, लेकिन लंबे समय से इन लक्षणों से गुज़रने वाले मरीज़ों को ज़्यादा कीमत चुकाने की ज़रूरत है, जिनमें ज्यादातर बुजुर्ग लोग होते हैं।